मदर टैरिसा के मिशनरी ऑफ चैरिटी से जुड़ी निर्मल हृदय संस्था से बच्चों को बेचने का मामला सामने आने के बाद हर दिन नए खुलासे हो रहे हें । पहली सफलता चाइल्ड वेलफेयर कमेटी को तब मिली जब बेचा गया एक बचा रांची से बरामद कर लिया गया । रांची के मोरहाबादी के हरिहर सिंह रोड से पुलि ने बच्चे को बरामद किया ।
अब सीडब्ल्यूसी यह पता लगाने में जुटा है कि वे अविवाहित माताएं कौन थीं जिन्होंने इन बच्चों को जन्म दिया । बरामद किए गए बच्चे को ओमेंद्र कुमार सिंह और दीपधारी देवी को 50 हजार रुपए में बेचा गया था । पुलिस ने जब दविश दी तो संबंधित दंपती नवजात को घर में ही छोड़कर भाग गए ।
मिशनरीज ऑफ चैरिटी से जुड़े होम्स में 2015 से 2018 के बीच 450 गर्भवती महिलाओं को भर्ती कराया गया था। लेकिन उनमें से सिर्फ 170 नवजात शिशुओं का ही डिलिवरी रिकॉर्ड मिला। बाकी 280 के बारे में कोई रिकॉर्ड नहीं मिला।
अब सीडब्ल्यूसी यह पता लगाने में जुटा है कि वे अविवाहित माताएं कौन थीं जिन्होंने इन बच्चों को जन्म दिया । बरामद किए गए बच्चे को ओमेंद्र कुमार सिंह और दीपधारी देवी को 50 हजार रुपए में बेचा गया था । पुलिस ने जब दविश दी तो संबंधित दंपती नवजात को घर में ही छोड़कर भाग गए ।
मिशनरीज ऑफ चैरिटी से जुड़े होम्स में 2015 से 2018 के बीच 450 गर्भवती महिलाओं को भर्ती कराया गया था। लेकिन उनमें से सिर्फ 170 नवजात शिशुओं का ही डिलिवरी रिकॉर्ड मिला। बाकी 280 के बारे में कोई रिकॉर्ड नहीं मिला।
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