उनका तर्क है कि पिछल पांच चुनावों से क्षेत्र व जिला पंचायत चुनाव में चक्रानुक्रम आरक्षण चलता आ रहा है। इसलिए अब नये सिरे से आरक्षण तय किये जाने की जरूरत है। बताते चलें कि वर्ष 2015 के चुनाव में तत्कालीन सपा सरकार ने ग्राम पंचायतों की सीटों का आरक्षण शून्य करके नये सिरे से चक्रानुक्रम आरक्षण निर्धारित किया था, अब उसी के अनुरूप चक्रानुक्रम के अगले क्रम में ग्राम पंचायतों की सीटों का आरक्षण तय होना है। जहां तक 2015 के पंचायत चुनाव में तय हुए आरक्षण का सवाल है तो उसका ब्यौरा निम्न तालिका से जाना जा सकता है।
2015 के त्रि-स्तरीय पंचायत चुनाव में हुआ आरक्षण
वर्ग ग्राम पंचायत क्षेत्र पंचायत जिला पंचायत
एसटी 336 5 0
एससी 12246 170 16
ओबीसी 15974 221 20
कुल योग 28556 396 38
कुल पंचायतें 69163 821 75
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